आंगनबाड़ी केंद्रों में लर्निंग कॉर्नर की शुरुआत
सीतापुर 16 सितम्बर:(डेस्क)जिले के 272 आंगनबाड़ी केंद्रों में लर्निंग कॉर्नर बनाने की योजना तैयार की गई है। प्रत्येक केंद्र पर 8,110 रुपये खर्च किए जाएंगे, जिससे पूर्व प्राथमिक शिक्षा लेने वाले नौनिहालों को लाभ होगा। इन नौनिहालों को खेल-खेल में पढ़ाई करवाई जाएगी, जिससे उनकी शिक्षा में रुचि बढ़ेगी। यह धनराशि विद्यालय प्रबंध समिति (एसएमसी) के खातों में ट्रांसफर कर दी गई है।
नई शिक्षा नीति का प्रभाव
नई शिक्षा नीति के तहत तीन से छह वर्ष के बच्चों को प्राथमिक शिक्षा आंगनबाड़ी केंद्रों के माध्यम से दी जाएगी। इसके बाद उन्हें प्राथमिक विद्यालयों में प्रवेश मिलेगा। इस योजना के अंतर्गत, उन आंगनबाड़ी केंद्रों को प्राथमिकता दी जा रही है जो पहले से ही प्राथमिक विद्यालय परिसर में स्थापित हैं। जिले के 272 ऐसे केंद्र चिह्नित किए गए हैं, जहां लर्निंग कॉर्नर स्थापित करने की तैयारी पूरी कर ली गई है।
लर्निंग कॉर्नर का विवरण
लर्निंग कॉर्नर चार चरणों में बनाया जाएगा, जिसमें रीडिंग कॉर्नर, आर्ट कॉर्नर, किताब कॉर्नर और प्रदर्शन कॉर्नर शामिल होंगे। प्रत्येक चरण में विभिन्न प्रकार की सामग्री जैसे किचन सेट, डॉक्टर सेट, भोजन सेट, फल सेट और टेलीफोन जैसी चीजें खरीदी जाएंगी। जब बच्चे यहां पढ़ने आएंगे, तो उन्हें यह सामग्री देकर बेहतर तरीके से पढ़ाई करवाई जाएगी।
बजट और स्थापना की प्रक्रिया
लर्निंग कॉर्नर के लिए आवश्यक बजट पहले ही संबंधित खातों में भेजा जा चुका है। बीईओ (ब्लॉक एजुकेशन ऑफिसर) को निर्देशित किया गया है कि वह एसएमसी के माध्यम से जल्द ही इसे स्थापित कराने का कार्य सुनिश्चित करें। प्रधानाध्यापक, ग्राम प्रधान और आंगनबाड़ी कार्यकर्ता मिलकर इस प्रक्रिया को आगे बढ़ाएंगे।
बच्चों को मिलेगा लाभ
इस पहल का मुख्य उद्देश्य नौनिहालों को एक खेल-आधारित वातावरण प्रदान करना है, जहां वे बिना किसी दबाव के सीख सकें। लर्निंग कॉर्नर बच्चों की रचनात्मकता और सोचने की क्षमता को विकसित करने में मदद करेगा, जिससे उनका समग्र विकास होगा।