टैटू का शौक बन रहा जानलेवा...हेपेटाइटिस के शिकार हो रहे युवा

in Basti Mandal2 days ago

संतकबीरनगर 16 सितंबर : (डेस्क) टैटू और सेविंग में ब्लेड न बदलने से संक्रमण का खतरा बढ़ा युवाओं में फैशन के चलते बढ़ रहे संक्रमण के मामले, 15-20% युवा रक्तदान के लिए अयोग्य गलत तरीके से टैटू बनवाने और असुरक्षित सेविंग से हो रहे स्वास्थ्य समस्याएं स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने दी चेतावनी, युवाओं को सतर्क रहने की आवश्यकता

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संतकबीरनगर में टैटू गोदवाने और सेविंग में ब्लेड न बदलने के कारण लोग संक्रमण का शिकार बन रहे हैं। खासकर, फैशन के ट्रेंड के साथ चलने वाले युवा इस समस्या के सबसे अधिक प्रभावित हो रहे हैं। इस स्थिति का एक गंभीर परिणाम यह है कि ब्लड बैंकों में रक्तदान के लिए पहुंचने वाले 15 से 20 प्रतिशत युवा अयोग्य पाए जा रहे हैं।

युवाओं के बीच टैटू बनवाने का चलन तेजी से बढ़ा है, लेकिन इसके साथ ही सही तरीके से सावधानी बरतने की आवश्यकता भी बढ़ गई है। कई बार, लोग बिना किसी पेशेवर की मदद के टैटू बनवाते हैं, जिससे संक्रमण का खतरा बढ़ जाता है।

इसके अलावा, सेविंग के दौरान ब्लेड का बार-बार न बदलना भी एक बड़ी समस्या बन गई है। संक्रमित ब्लेड का उपयोग करने से त्वचा में घाव हो सकते हैं, जो बाद में गंभीर संक्रमण का कारण बन सकते हैं।

स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि इन दोनों गतिविधियों से होने वाले संक्रमण से बचने के लिए युवाओं को जागरूक होना चाहिए। उन्होंने सलाह दी है कि टैटू बनवाने से पहले सुनिश्चित करें कि यह एक प्रमाणित और स्वच्छ स्थान पर किया जा रहा है। इसके अलावा, सेविंग के लिए हमेशा नए और स्वच्छ ब्लेड का उपयोग करना चाहिए।

इस समस्या के बढ़ते मामलों को देखते हुए, स्वास्थ्य विभाग ने युवाओं के बीच जागरूकता बढ़ाने के लिए विभिन्न कार्यक्रम आयोजित करने की योजना बनाई है। इन कार्यक्रमों में संक्रमण से बचाव के उपाय, सही सेविंग तकनीक और टैटू बनवाने के दौरान सावधानियों के बारे में जानकारी दी जाएगी।

इसके अतिरिक्त, ब्लड बैंकों में रक्तदान करने वाले युवाओं की बढ़ती संख्या को देखते हुए, स्वास्थ्य अधिकारियों ने यह सुनिश्चित करने का प्रयास किया है कि रक्तदान के लिए आने वाले सभी युवाओं की स्वास्थ्य जांच सही तरीके से की जाए।

इस प्रकार, संतकबीरनगर में टैटू गोदवाने और सेविंग में लापरवाही के कारण संक्रमण के मामलों में वृद्धि एक गंभीर चिंता का विषय बन गया है। युवाओं को इस दिशा में जागरूक करना और सही सावधानियों का पालन करना आवश्यक है, ताकि वे स्वस्थ रह सकें और संक्रमण से बच सकें।