कीचड़ में देखी दुनिया।

in #u2 years ago

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खबर यूपी के बस्ती जिले से है जहां प्रसव पीड़िता को अस्पताल ले जा रहा एंबुलेंस गड्ढे में फंस गया और प्रसूता महिला ने एंबुलेंस ही में बच्चे को जन्म देने को मजबूर हो गई, काश योगी जी की योजना का लाभ इस गांव को भी मिला होता तो शायद सिस्टम की लाचारी के आगे कीचड़ में उस बच्चे को दुनिया देखने के लिए अपनी आंख न खोलना पड़ता जिसकी किस्मत में ही भगवान ने नहीं मानो सरकार ने बदइंतजामी झेलना लिख दिया है।

दुबौलिया ब्लाक क्षेत्र के एक गांव से प्रसव पीड़िता को 102 एंबुलेंस प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र रामनगर विषेशरगंज ले जा रहा था। अस्पताल जाने वाला सड़क काफी खराब होने के कारण एंबुलेंस गड्ढे में फस गया जिससे एंबुलेंस कड़ी मशक्कत के बाद भी नहीं निकल पाया। प्रसव पीड़िता महिला ने एंबुलेंस में ही बच्चे को जन्म दे दिया। ब्लॉक क्षेत्र के सांडपुर गांव निवासी विजय की पत्नी सरिता को प्रसव पीड़ा होने पर गांव की आशा बहू रीना ने 102 एंबुलेंस से प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र रामनगर विशेश्वरगंज ले जा रही थी। अस्पताल जाने वाली निर्माणाधीन सड़क काफी खराब होने के कारण अस्पताल से दो सौ मीटर पहले ही गड्ढे में फस गई। चालक द्वारा कड़ी मशक्कत के बाद एंबुलेंस बाहर नहीं निकल पाया। महिला को प्रसव पीड़ा अधिक होने के कारण मौके पर डॉक्टर डीके चौधरी, स्टाफ नर्स सुनीता वर्मा एवं दाई पहुंच कर एंबुलेंस में ही सुरक्षित बच्चे को पैदा कराया। जिस के बाद पैदल ही जच्चा बच्चा को अस्पताल लेकर पहुंची। डॉ डीके चौधरी ने बताया कि अस्पताल जाने वाला मार्ग बरसात के कारण बहुत ही खराब हो गया है जिसके कारण ना तो अस्पताल एंबुलेंस पहुंच पाता है और ना ही हम लोग अपनी गाड़ी लेकर अस्पताल आ आते हैं ऐसे में पांच सौ मीटर दूर ही एंबुलेंस चालक मरीज को छोड़ देते हैं। जिससे मरीजों को पैदल ही अस्पताल आना जाना पड़ता है।