नेताजी और उनकी मौत से जुड़े ऐसे सीक्रेट जो बहुत कम लोग जानते हैं

in #subhash2 years ago

"तुम मुझे खून दो मैं तुम्हें आजादी दूंगा" ऐसी सोच ऐसे नारों को प्रोत्साहन देने वाले नेताजी सुभाष चंद्र बोस आज हमारे बीच नहीं है आज उनकी पुण्यतिथि है इस अवसर पर उनसे जुड़ी कुछ बातें आप सभी के साथ साझा करना चाहते हैं नेताजी सुभाष चंद्र बोस का जब भी जिक्र आता है तो उनकी मौत को लेकर जरूर बातें सामने आती हैं नेताजी सुभाष चंद्र बोस की जिंदगी और मृत्यु की कुछ बातें ऐसी हैं जो सभी लोग नहीं जानते
सुभाष चंद्र बोस की पुण्यतिथि पर हर साल उनकी मौत को लेकर चर्चा होती है और कहा जाता है कि कई सीक्रेट हैं, जो अभी तक पता नहीं चले हैं. नेताजी के जीवन और उनकी मौत को लेकर कई ऐसी कहानियां हैं, जिन्हें अभी भी लोग जानना चाहते हैं. यहां तक कि सरकार ने भी एक वेबसाइट बनाई है और इस पर नेताजी की लाइफ से जुड़े कई सीक्रेट सामने लाने की कोशिश की है. सरकार ने अभी तक कई फाइलें सार्वजनिक भी की हैं, जिनमें उनकी पर्सनल लाइफ से जुड़ी भी कई जानकारी सामने आई हैं.
बता दें कि सरकार साल 2016 से कई सीक्रेट सामने लाने की कोशिश की है और सरकार ने कई डॉक्यूमेंट सार्वजनिक किए हैं. सबसे पहले जनवरी 2016 में 100 फाइलें इस वेबसाइट पर जारी की गई थीं, जिसमें कई तरह की जानकारी सामने आई थीं. ऐसे में आज हम इन सार्वजनिक की गई फाइलों के आधार पर बताते हैं नेताजी के जीवन से जुड़ी कुछ खास बातें…

जब डॉक्यूमेंट सामने आए थे, तब उस दौरान छपी मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, नेताजी सुभाष चंद्र बोस की इन्कायरी कमेटी ने 11 सितंबर 1956 को एक रिपोर्ट पेश की थी. ये ही वो रिपोर्ट है, जिसमें प्लेन क्रैश की बात कही गई है और बताया गया है कि 18 अगस्त 1945 को नेताजी की प्लेन क्रैश में मौत हुई थी.
1- को प्लेन से बैंकॉक से मंचूरिया के लिए निकल गए थे और वो रूस जाने की तैयारी कर रहे थे. इसी दौरान 18 अगस्त को ताईहोकू में प्लेन क्रैश हो गया और इस हादसे में नेताजी चले गए थे.

2 -कमेटी की रिपोर्ट में बताया गया था कि टोक्यो के रेंकोजी टेंपल में उनकी अस्थियां सुरक्षित रखी गई थी. इसमें कई लोगों के हवाले से लिखा गया है कि उन्होंने नेताजी के कपड़े जलते देखे थे. जब दूसरे विश्वयुद्ध में पश्चिमी शक्तियों के सामने जापान-इटली की हार का संकट मंडरा रहा था, जब उन्होंने रूस जाने का फैसला किया था.

3-बाद उन्हें ताऊहोकू में भर्ती करया गया, मगर वे बच नहीं पाए और ताईहोकू में ही उनका अंतिम संस्कार कर दिया गया.

4-नेताजी की मौत की खबर जिस तरीके से दी गई, उस वजह से संदेह पैदा हुआ. इसमें मौत की खबर को रहस्य बनाए रखा, इस वजह से संकट पैदा हुआ.

5-AICC नेताजी की बेटी को 1964 तक 6000 रुपये सालाना भेजती रही. यह सिलसिला 1965 में उसकी शादी के बाद रुका. वहीं, उनकी बेटी ने कोई भी पैसे लेने से मना कर दिया था.
पश्चिम बंगाल सरकार की फाइलों में अलग बात
कई लोगों का दावा है कि पश्चिम बंगाल सरकार ने कुछ साल पहले जब 64 फाइलें सार्वजनिक की थी, जिसमें नेताजी की मौत प्लेन क्रैश में ना होने की बात सामने आई है. अभी लोगों का मानना है कि कई फाइलें सामने आना बाकी है. एक और दावा किया जाता है कि रूस में 11 जनवरी 1966 को ताशकंद समझौते में नेताजी सुभाषचंद्र बोस भी मौजूद थे. इस वजह से उनकी मौत को लेकर रहस्य बना हुआ है.subhash-chandra-bose.jpg

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