उद्धव सरकार की मुश्किलें बढ़ीं, कैबिनेट मंत्री एकनाथ शिंदे से शिवसेना का संपर्क नहीं

in #politics2 years ago

महाराष्ट्र की राजनीति में एक बार फिर भूचाल आ गया है और उद्धव ठाकरे सरकार की मुश्किलें बढ़ गई हैं. महाराष्ट्र सरकार के कैबिनेट मंत्री एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) शिवसेना के संपर्क में नहीं हैं और बताया जा रहा है कि वो 17 विधायकों के साथ गुजरात में मौजूद हैं.

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Maharashtra Political Crisis: महाराष्ट्र में विधान परिषद चुनावों (MLC Election) के बाद उद्धव ठाकरे सरकार की मुश्किलें बढ़ गई हैं और कैबिनेट मंत्री एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) से शिवसेना का संपर्क नहीं है. बताया जा रहा है कि एकनाथ शिंदे पार्टी के 17 विधायकों के साथ गुजरात में मौजूद हैं. बता दें कि एकनाथ शिंदे महाराष्ट्र सरकार में कैबिनेट मंत्री हैं और ठाकरे परिवार से नाराज चल रहे हैं.

17 विधायकों से शिवसेना का संपर्क नहीं

शिवसेना फूट के कगार पर है और पार्टी के बड़े नेता एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) कल (20 जून) शाम से नॉट रिचेबल हैं. महाराष्ट्र में सोमवार को हुए विधान परिषद चुनावों (MLC Election) में शिवसेना के 11 वोट टूटे और बीजेपी के उम्मीदवार प्रसाद लाड जीत गए. इसके बाद से ही एकनाथ शिंदे और उनके समर्थक नॉट रिचेबल हैं.

गुजरात के एक होटल में मौजूद हैं एकनाथ शिंदे

सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, शिवसेना नेता एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) सभी विधायकों के साथ गुजरात में हैं. शिंदे गुजरात के सूरत शहर में स्थित ग्रैंड भगवती होटल में रुके हैं.

उद्धव ठाकरे ने बुलाई विधायकों की बैठक

एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) के नॉट रिचेबल होने के बाद मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे (Uddhav Thackeray) ने पार्टी के विधायकों की एक बैठक बुलाई है. सीएम उद्धव ने दोपहर 12 बजे विधायकों की बैठक बुलाई है.

महाराष्ट्र विधान परिषद चुनाव में BJP के 5 प्रत्याशी जीते

भारतीय जनता पार्टी ने सोमवार को महाराष्ट्र की सत्ता पर काबिज महा विकास आघाडी को एक और झटका देते हुए विधान परिषद की उन सभी 5 सीटों पर विजय प्राप्त की, जिन पर उसने प्रत्याशी उतारे थे. शिवसेना और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी को दो-दो सीटें मिलीं, जबकि कांग्रेस को एक ही सीट से संतोष करना पड़ा. विधान परिषद की 10 सीटों के लिए चुनाव हुए और इसमें 11 उम्मीदवार खड़े थे. बता दें कि बीजेपी ने हाल में हुए राज्यसभा चुनाव में भी शिवसेना को शिकस्त दी थी.

विधानसभा में भाजपा की पर्याप्त सीटें हैं, जिसके कारण वह परिषद की चार सीटों पर आसानी से अपने उम्मीदवारों को जिताने में कामयाब हुई. इसके अलावा भाजपा के पांचवें प्रत्याशी प्रसाद लाड भी अपनी पार्टी के बाहर के विधायकों के समर्थन से विधान परिषद में पहुंचने में सफल हुए