अंतर्राज्यीय अवैध शराब माफियाओं का किया राजफाश भारी मात्रा में शराब बनाने के अवैध उपकरण बरामद
अंतर्राज्यीय अवैध शराब माफियाओं का किया राजफाश
- भारी मात्रा में मिश्रित अप मिश्रित शराब एवं उपकरण के बरामद
-हजारों की संख्या में रैपर, ढक्कन, होलोग्राम किये बरामद
मुजफ्फरनगर
जनपद मुज़फ्फरनगर के सिविल लाइन थाना व एसओजी की टीम के द्वारा पांच अंतरराज्यीय अवैध शराब माफियाओं को भारी मात्रा में मिश्रित व अप मिश्रित शराब एवं शराब बनाने के उपकरण सहित एमडीए ऑफिस के पीछे पड़े खाली खंडहरनुमा बिल्डिंग से गिरफ्तार किए गये है।
पुलिस अधीक्षक नगर अर्पित विजय वर्गीय ने पुलिस लाइन सभागार में पत्रकारों से वार्ता कर बताया कि शहर में बड़े पैमाने पर अवैध रूप से नकली शराब बनाने का कार्य किया जा रहा था। शराब माफियाओं के राजफाश को टीम का गठन किया गया था। वही गठित की गई टीम के द्वारा मुखबिर की सूचना पर जनपद के एमडीए के ऑफिस के पीछे पड़ी एक खंडहर नुमा बिल्डिंग का घेराव करते हुए अवैध शराब बनाते हुए पाँच शातिरों को गिरफ्तार किया गया है। पुलिस टीम व एसओजी टीम के द्वारा चलाये गए संयुक्त अभियान में पकड़े गए शातिर शराब माफियाओं की पहचान राजीव गोयल पुत्र कृष्ण गोयल निवासी माधवपुरम थाना ब्रहमपुरी जनपद मेरठ, उज्जवल शर्मा पुत्र सत्यप्रकाश निवासी ग्राम बक्सर थाना सिंभावली जनपद हापुड हाल निवासी जयभीम नगर थाना भावनपुर जनपद मेरठ, तरुण कुमार पुत्र बाबू सिंह निवासी ग्राम काजीपुर थाना खरखौदा जनपद मेरठ, विक्रांत दुग्गल पुत्र ललित कुमार निवासी नहरुनगर थाना सिहानी गेट जनपद गाजियाबाद, मनमोहन सिंह पुत्र कदम सिंह निवासी वसुंधरा थाना इंदरापुरम जनपद गाजियाबाद के रूप में हो पाई है। वही टीम के द्वारा मौके से भारी मात्रा में शराब बनाने के उपकरण व मिश्रित एवं अप मिश्रित शराब सहित 18 पेटी नकली शराब (मेकडॉवल नम्बर 1 व ब्लेक एंड ब्लू व्हिस्की), 200 लीटर अपमिश्रित शराब, 49 हजार ढक्कन भिन्न-भिन्न मार्का,17 हजार होलोग्राम, चार हजार प्लास्टिक के खाली पव्वे, 6050 भिन्न-भिन्न ब्रॉन्ड के रैपर, 200 लीटर ईएनए, पाँच किलोग्राम यूरिया के अलावा दो कार स्विफ्ट व आल्टो (स्विफ्ट कार पर फर्जी नम्बर प्लेट लगी है, एक एलकोहल मीटर, एक छोटी टंकी टोंटी लगी हुई,एक मशीन ढक्कन सील करने वाली, दो प्लास्टिक छलनी, दो टब, एक टेपकटर मशीन, दो टेपरोल, एक पेट्रोमेक्स, एक बैट्री टार्च, व 20 गत्ते आदि बरामद किए गए हैं। इसके अलावा पकड़े गए शातिरों ने बताया कि डिमांड मिलने पर अलग-अलग राज्यों के शहरों में अवैध नकली शराब की सप्लाई करते थे। वही क्षेत्र में खाली पड़ी पुरानी बिल्डिंग की खोजबीन कर नकली शराब बनाने का काम किया जाता था,जिसके बाद तैयार की गई नकली शराब को उसी क्षेत्र में जरूरत के हिसाब से बेच दिया जाता था। इसके अलावा पुलिस अधीक्षक नगर अर्पित विजय वर्गीय ने बताया कि शराब माफियाओं के द्वारा नकली शराब को बेच दिए जाने से सरकार को करीब 45 लाख रुपयों की राजस्व को हानि होती। वही पुलिस टीमो के द्वारा बरामद 18 पेटी शराब पर अंकित बार कोड को स्केन करने पर कोई डिटेल प्राप्त न होने पर, गिरफ्तार शातिर अवैध शराब माफियाओं के आपराधिक इतिहास की जानकारी स्थानीय पुलिस द्वारा की जा रही है।