फर्जी मार्कशीट बनाने वाला सरगना गिरफ्तार

in #panipat2 years ago

हरियाणा के पानीपत में जिला पुलिस ने फर्जी मार्कशीट बनाने वाले गिरोह के सरगना बर्खास्त सिपाही को गिरफ्तार किया है। आरोपी पवन राणा रोहतक की भरत कॉलोनी का रहने वाला है। वह हरियाणा मुक्त विद्यालय शिक्षा परिषद की 10वीं और 12वीं कक्षा की फर्जी मार्कशीट बनाकर लाखों रुपए की ठगी कर चुका है पुलिस ने 6 दिन के रिमांड के दौरान आरोपी से 10वीं-12वीं की 111 फर्जी मार्कशीट, 51 माइग्रेशन सर्टिफिकेट, 44 मोहर, 1 प्रिंटर, 1 लैपटॉप और ठगी के 50 हजार रुपए बरामद किए। आरोपी की रिमांड अवधि पूरी होने पर पुलिस ने उसे कोर्ट में पेश किया, जहां से उसे जेल भेज दिया।
700 फर्जी मार्कशीट बना कमाए लाखों

पानीपत के सीआईए-2 प्रभारी इंस्पेक्टर वीरेंद्र ने बताया कि पूछताछ में खुलासा हुआ कि पवन राणा 2004 में हरियाणा पुलिस में बतौर सिपाही भर्ती हुआ। लंबे समय तक गैरहाजिर रहने के कारण साल 2014 में उसे नौकरी से बर्खास्त कर दिया। उसने साल 2011 में फिटजी काउंसिल स्कूल एजुकेशन के नाम से सोसायटी रजिस्टर्ड करवाई। 2016 में इसका नाम बदलकर काउंसिल ऑफ स्कूल एजुकेशन रख लिया। पवन राणा रोहतक के सेक्टर-3 में ऑफिस खोलकर हरियाणा बोर्ड ओपन के फार्म भरवाकर बच्चों के पेपर करवाने लगा। इसमें मोटी कमाई होने के कारण उसने पानीपत की भाटिया कॉलोनी के हरीश मित्तल और दो अन्य साथियों के साथ (जो हरियाणा ओपन बोर्ड के फार्म भरवाकर बच्चों के पेपर करवाते थे) मिलकर योजना बनाई। उन्होंने फर्जी मार्कशीट बेचने के फर्जीवाड़े को अंजाम देना शुरू कर दिया। आरोपी से पूछताछ में खुलासा हुआ कि वह अब तक 700 फर्जी मार्कशीट तैयार कर लाखों रुपए लेकर गिरोह के गुर्गों को दे चुका है। गुर्गे आगे भोले-भाले लोगो को झांसे में फंसाकर लाखों रुपए में बेचते थे।
यूं हुआ मामले का खुलासा

पुराना औद्योगिक थाना में बलवान निवासी बीबीपुर कुरुक्षेत्र ने 10 मई को शिकायत देकर बताया था कि वह करनाल टोल प्लाजा पर प्राइवेट नौकरी करता है। उसे 12वीं कक्षा की मार्कशीट की जरूरत थी। 3 माह पहले उसे पता चला कि पानीपत में रामलाल चौक पुरानी कोर्ट रोड पर ग्लोबल एजुकेशन के नाम से ऑफिस है। वहां पर ओपन की परीक्षाएं करवाई जाती हैं। वह ऑफिस में गया, जहां हरीश मित्तल नाम का युवक मिला। उसने हरीश को बताया वह 12वीं कक्षा करना चाहता है और पेपर देने के लिए तैयार है। हरीश ने दस्तावेज, आधार कार्ड, फोटो इत्यादि के अतिरिक्त डेढ़ लाख रुपए खर्च बताया। विश्वास करते हुए अगले दिन दोस्त टिंकू निवासी मतलौडा के साथ वह ऑफिस में गया और हरीश को सारे दस्तावेज और डेढ़ लाख रुपए दे दिए। हरीश ने दो माह बाद आकर मिलने के बारे में कहा।

दो माह बाद वह ऑफिस में गया तो हरीश ने उसे मुक्त विद्यालय शिक्षा परिषद हरियाणा की 12वीं कक्षा की मार्कशीट थमा दी। उसने हरीश से पूछा पेपर तो हुए नहीं तो हरीश ने जवाब देते हुए कहा की कोई दिक्कत नहीं, मार्कशीट असली है, कहीं भी चेक करवा लेना। उसने मार्कशीट की जांच करवाई तो कहीं पर कोई रिकार्ड नहीं मिला। मार्कशीट फर्जी निकली।Screenshot_20220528-195506_Chrome.jpg

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very nice work by police