यूपी के गांवों की सड़कें होंगी चौड़ी, 2024 से पहले पूरा हो जाएगा काम

in #news2 years ago

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उत्तर प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्रों में प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना (पीएमजीएसवाई) के तहत पूर्व में बनी सड़कें चौड़ी किए जाने को अब और रफ्तार मिलेगी। प्रदेश की 18770 किलोमीटर सड़कों को चौड़ाकर 5.5 मीटर तक करने का प्रस्ताव केंद्र सरकार से स्वीकृत हो गया है। कई सड़कों पर काम शुरू कर दिया गया है। ये सभी स्वीकृत सड़कें 2024 से पहले ही चौड़ी हो जाएंगी।

उ.प्र. ग्रामीण सड़क विकास अभिकरण (यूपीआरआरडीए) से मिली जानकारी के मुताबिक केंद्र सरकार से पीएमजीएसवाई-तीन के तहत 2024 तक 18937 किलोमीटर ग्रामीण सड़कों को चौड़ा करने का लक्ष्य मिला है। इनमें से 18770 किलोमीटर सड़कों को चौड़ा करने के प्रस्ताव की स्वीकृति केंद्र सरकार से ले ली गई है। चौड़ीकरण के लिए टेंडर और बांड की प्रक्रिया चल रही है।स्वीकृत सड़कों में से करीब 5500 किलोमीटर सड़कों को चौड़ा करने का काम पूरा कर लिया गया है। जहां पर भी जगह उपलब्ध है वहां पर चौड़ाई 5.5 मीटर, जहां जगह नहीं है वहां पर जगह की उपलब्धता के आधार पर सड़कें चौड़ी की जा रही हैं। न्यूनतम 3.75 मीटर चौड़ीकरण का काम किया जा रहा है। गौरतलब है कि पीएमजीएसवाई के तहत ग्रामीण क्षेत्रों में 57 हजार किलोमीटर लंबी सड़कें हैं।

केंद्र सरकार द्वारा पीएमजीएसवाई-चार के लिए दिशा निर्देश तैयार किए जा रहे हैं। दिशा निर्देश जारी होते ही शेष सड़कों के चौड़ीकरण का प्रस्ताव भी भारत सरकार को भेजने की तैयारी है। कुछ दिनों पहले यूपीआरआरडीए में एक कार्यक्रम के दौरान उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने निर्देश दिए थे कि ग्रामीण सड़कों को शहरी सड़कों की तरह चौड़ा किया जाए। इन सड़कों के चौ़ड़ा होने पर गांवों में विकास को गति मिलेगी। किसानों को अपने उत्पाद बाजार तक ले जाने में आसानी होगी।

गौरतलब है कि प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना वर्ष 2000 में तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने शुरू की थी। इस योजना का उद्देश्य शहरों और गांवों को पक्की सड़क के माध्यम से जोड़ा जाना था। इस समय देश के लगभग सभी गांव इस योजना में शामिल कर लिए गए हैं। योजना का मकसद सड़कों की स्थिति को बेहतर करके ग्रामीण अर्थव्यवस्था का विकास करना था। सड़कें बेहतर होने का बड़ा लाभ ग्रामीण उत्पादों को मिलने लगा है।डेढ़ साल में पूरा हो जाएगा काम
प्रदेश के कृषि उत्पादन आयुक्त/अपर मुख्य सचिव ग्राम्य विकास मनोज कुमार सिंह का कहना है कि केंद्र सरकार से मिले लक्ष्य को अधिकतम डेढ़ साल के अंदर पूरा कर लिया जाएगा। कुल स्वीकृत सड़कों में से 5500 किमी. सड़कें एफडीआर तकनीकी से बनाई जा रही हैं, जिससे 1800 करोड़ रुपये की बचत हुई है। वहीं टेंडर में ठेकेदारों के रैकेट को समाप्त कर अपनाई गई पारदर्शिता से करीब 1200 करोड़ रुपये की बचत कर ली गई है। आगे पीएमजीएसवाई के तहत अधिक से अधिक सड़कों को चौड़ा करने का काम किया जाएगा।