स्वामी अड़गड़ानंद के आश्रम में गोलीबारीः पुलिस को किसी बड़ी साजिश का शक!

in #mirzapur2 years ago

मिर्जापुर के सक्तेशगढ़ में स्थित स्वामी अड़गड़ानन्द के परमहंस आश्रम में गुरुवार को हुए गोलीकांड में एक साधु की मौत और एक अन्य के गंभीर रूप से घायल होने पर कई सवाल उठने लगे हैं। पुलिस इस बिंदु पर भी कर रही है कि दो तमंचे के साथ निष्कासित साधु के आश्रम में पहुंचना किसी साजिश का हिस्सा तो नहीं है। वहीं यह घटना कहीं वर्चस्व को लेकर तो नहीं हुई है।
यह पहला मौका है जब सक्तेशगढ़ स्थित परमहंस आश्रम में इस तरह की वारदात हुई है। सक्तेशगढ़ चौकी प्रभारी अनिल विश्वकर्मा का कहना है कि पुलिस हर एंगल से जांच कर रही है।

चुनार कोतवाली के सक्तेशगढ़ स्थित परमहंस आश्रम के स्वामी अड़गड़ानंद के प्रति आमजनों में ही नहीं बड़े बड़े राजनेताओं की भी पूरी आस्था है। यही कारण है कि देश भर के बड़े नेता समय समय पर परमहंस आश्रम आते रहे हैं।

आश्रम में रहने वाले संतों का कहना है क विहिप के तत्कालिक अंतरराष्ट्रीय महामंत्री अशोक सिंघल जहां राममंदिर आंदोलन के दौरान पूर्वांचल के लोगों को एकजुट करने के लिए आश्रम में महीनों गुजारते थे तो वहीं सूबे के मुख्यमंत्री रहे मुलायम सिंह यादव, उनके छोटे भाई शिवपाल सिंह यादव के साथ अक्सर आश्रम आते थे। बताया जा रहा है कि मुलायम सिंह जब कभी वाराणसी या मिर्जापुर दौरे पर आते थे तो स्वामी अड़गड़ानन्द से मुलाकात कर आशीर्वाद लेना नहीं भूलते थे। यहीं नहीं मुख्यमंत्री बनने के बाद अखिलेश यादव भी स्वामी अड़गड़ानन्द से आशीर्वाद लेने के लिए परमहंस आश्रम पहुंचे थे।

बीते विधानसभा चुनाव से पूर्व भी अखिलेश यादव स्वामी अड़गड़ानन्द के आश्रम आए थे। स्वामी अड़गड़ानन्द के प्रति सिर्फ यूपी के ही नहीं बल्कि पड़ोसी प्रदेश मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, पूर्व मुख्यमंत्री दिग्गविजय सिंह की भी आस्था पूरी है। दोनों जब भी वाराणसी या मिर्जापुर आते हैं तो परमहंस आश्रम जरूर आते हैं। यही नहीं प्रदेश के आईएएस और आईपीएस अफसरों की आस्था भी आश्रम के प्रति है।

आश्रम के संत नारद महाराज के मुताबिक स्वामी अड़गड़ानंद महाराज का सक्तेशगढ़ के अलावा जिले के कछवां स्थित बरैनी, छानबे ब्लाक के विजयपुर और हलिया ब्लाक के औंरा गांव में आश्रम है। इसके अलावा पांचवां आश्रम मध्य प्रदेश के बरचर में स्थिति है। मुख्य आश्रम सक्तेशगढ़ का परमहंस आश्रम है। आश्रम में स्वामी अड़गड़ानन्द रहते हैं। गुरुपूर्णिमा पर सक्तेशगढ़ आश्रम पर ही गुरुपूजा हुई थी। इसके अलावा आश्रम पर स्वामी अड़गड़ानन्द अपने शिष्यों से मिलते है और प्रतिदिन शाम को तीन बजे से प्रवचन करते हैं। वहीं अन्य आश्रमों पर स्वामी अड़गड़ानन्द के शिष्य रहते है और साल में एक बार स्वामी जी वहां जाते हैं।

देश भर से आते हैं शिष्य: परमहंस आश्रम सक्तेशगढ़ से पूर्वांचल के बड़े-बड़े लोगों के साथ ही दिल्ली, मुम्बई, गुजरात और महाराष्ट्र तक के शिष्य जुड़े हुए है। आश्रम के प्रवक्ता नारद महाराज का कहना है कि मध्य प्रदेश के शिवपुरी जिले के सिहोर थाना क्षेत्र के छितरी गांव निवासी जीवन बाबा उर्फ जीत बीते आठ वर्षों से आश्रम में रसोइया का कार्य करता था। सुबह-शाम स्वामीजी की सेवा भी करता था। उन्होंने बताया कि तीन-चार साल पहले आशीष बाबा आश्रम में आए थे। सक्तेशगढ़ स्थित परमहंस आश्रम के संत स्वामी अड़गड़ानन्द महाराज से पूर्वांचल ही नहीं पूरे प्रदेश व देश में विभिन्न प्रांतों में लाखों की संख्या में शिष्य हैं। परमहंस आश्रम पर गुरुपूर्णिमा के दिन गुरु पूजा में प्रतिवर्ष आठ से दस लाख शिष्य जुटते हैं। इस आश्रम में रहतें हैंकरीब 250 संत।

स्वामी अड़गड़ानन्द के शिष्यों में सेठ-साहूकार से लेकर कई आईएएस,आईपीएस अधिकारी तक शामिल हैं। आम गृहस्थ भी स्वामी अड़गड़ान्द से दीक्षित हैं। गुरुपूर्णिमा पर कृपा प्राप्त करने के लिए लाखों भक्त आश्रम पर जुटते हैं।BFA4FE20-7131-46BC-BF17-9F22277E851D.jpeg

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