मानसून की दस्तक ने खोली चकाचक सड़कों की पोल,
राजधानी पहली तेज बारिश की उम्मीद तो सभी को थी, लेकिन नगरीय निकाय के चुनाव के उम्मीदवारों पर वह दो दिनी बारिश बिजली की तरह गिरी है। वजह यह है कि दो दिन में ही शहर के दर्जनों इलाकों की सड़कें उखड़ गई है। अब प्रत्याशी जनता के सामने जा रहे हैं, तो लोग उनसे उखड़ी सड़क, जलभराव व अन्य समस्याएं गिना रहे हैं। ऐसे में जो पूर्व पार्षद रहे हैं और फिर से उनको टिकट दिया गया है। उनके लिए खतरे की घंटी है।
गुलमोहर, कोलार, बाग सेवनिया, एम्स, हमीदिया रोड जैसे कई नये पुराने इलाकों की सड़कों पर गडढे हो चुके है। इस बारिश ने सीवेज सिस्टम की पोल भी खोल दी। कई निचले इलाकों में पानी भरने से लोगों के सामने बड़ी समस्या पैदा हो गई है। भोपाल स्टेशन के आसपास की बस्तियों से लेकर बाणगंगा, शिवनगर, कोलार, करोद, अयोध्या, अवधपुरी में हालात खराब है। मानसून की शुरुआत में ही शहर की मुख्य व व्यस्त रहने वाली हमीदिया रोड पर भी ऐसे ही हालात देखने को मिले हैं। ये सड़क पहले से जर्जर है, लेकिन अब मुसीबत और भी बढ़ गई है। शाहजहांनाबाद, कोहेफिजा, एम्स रोड पर भी ऐसे ही हालात नजर आए। बाग सेवनिया से लहारपुर और कटारा की मेन सड़क तो ठीक है, लेकिन अंदरूनी रास्तें जर्जर होने लगे हैं। लहारपुर में मुख्य रोड खस्ताहाल है। न्यू मार्केट के रंगमहल चौराहे पर कुछ दिन पहले बनी सड़क भी उखड़ गईं। कोलार के पास गोल जोड़ रेस्ट हाउस से चूना भटटी और फिर नयापुरा से बैरागढ़ चीचली के बीच कई जगह गड्ढे हैं। ललितानगर, कोलार थाने के पास और डी मार्ट के सामने सड़क पर बारिश का पानी भरा हुआ है। आसपास की कॉलोनियों में सड़कों पर कीचड़ फैला है। कई कालोनियों में तो सड़कें हीं नहीं है इसलिये वहां और हालात खराब है।