अलीगढ़ महिला ने 15 मुकदमों में 150 लोगों को किया नामजद,SC-ST में मुकदमे दर्ज,फिर वसूलती पैसे

in #aligarh2 years ago

20220327_201819.jpgअलीगढ़ के ग्रामीण पुलिस अधीक्षक शुभम पटेल ने कहा कि एक मनोज कुमार नाम के द्वारा गुरुवार को पुलिस को प्रार्थना पत्र दिया गया है। उनके द्वारा आरोप लगाया है कि एक महिला सहित परिवार के लोगों द्वारा एससी एसटी एक्ट का दुरुपयोग करते हुए लोगों पर गलत मुकदमे दर्ज करा रही है। पूरे मामले की जांच व एससी एसटी के मुकदमों में हुई विवेचना की जांच भी सीओ स्तर से कराई जाएगी। जांच के उपरांत जो एससी एसटी के झूठे मुकदमे पाए जाने पर उसी आधार पर कार्रवाई की जाएगी। एसपी ग्रामीण का यह भी कहना है कि अगर महिला के द्वारा गलत तरीके से एससी एसटी के मुकदमे दर्ज कराए गए है और सरकार द्वारा मिली आर्थिक धनराशि को भी वापस कराने का काम किया जाएगा। तो वही महिला और उसके परिवार के खिलाफ कठोरतम कार्रवाई भी की जाएगी।

उत्तर प्रदेश के जनपद अलीगढ़ में एक अनुसूचित जाति की महिला और उसके परिवार के लोगों द्वारा SC-ST एससी/एसटी के करीब डेढ़ सौ झूठे मुकदमे दर्ज करा कर पीड़ित लोगों से समझौते के नाम पर पैसे वसूलने का हैरतअंगेज कारनामा सामने आया है। जहां महिला और उसके परिवार के लोग के द्वारा अलीगढ़ जिले के कई थानों में एससी एसटी का मुकदमा दर्ज करा कर सरकार से आर्थिक सहायता भी कई बार ली जा चुकी है। आपको बता दें अलीगढ़ जिले के थाना क्वार्सी क्षेत्र के एक व्यक्ति ने एसएसपी को शिकायत करते हुए आरोप लगाया कि एक महिला और उसके परिवार के लोगों द्वारा एससी एसटी एक्ट का दुरुपयोग किया जा रहा है। महिला ने लगभग डेढ़ सौ लोगों पर मुकदमा दर्ज कराए है। युवक का आरोप है कि सरकारी पैसा लेने के लिए महिला और उसके परिवार के लोग गलत तरीके से मुकदमा दर्ज कराते हैं, अब तक महिला की तरफ से लगभग 15 मुकदमों में डेढ़ सौ से अधिक लोगों को नामजद किया है।

दरअसल अलीगढ़ के थाना क्वार्सी इलाके के नगला छितर के रहने वाले मनोज कुमार ने एसएससी को शिकायती पत्र देते हुए आरोप लगाया कि टप्पल क्षेत्र की रहने वाली एक महिला के द्वारा गलत तरह से एससी एसटी एक्ट का दुरुपयोग किया जा रहा है, महिला द्वारा सरकारी अनुदान लेने के लिए अब तक पिछले 5 सालों में लगभग 15 मुकदमे दर्ज कराए जा चुके हैं, इन 15 मुकदमों में लगभग 150 से अधिक लोग नामजद हैं,कुछ मुकदमों में सरकार की तरफ से मिलने वाले अनुदान को भी महिला द्वारा लिया गया है, महिला के द्वारा फर्जी एससी एसटी एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज कराया जाता है और फिर उस मुकदमे में फैसला के लिए दबाव बनाते हुए मोटी रकम ली जाती है, मनोज कुमार का आरोप है कि महिला ने उसके खिलाफ थाना क्वार्सी में एससी एसटी एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज कराया है, और जब महिला से फैमिली की बात की गई तो महिला 8 लाख रुपये की मांग कर रही है। मनोज आरोप है कि पुलिस के अधिकारियो महिला द्वारा दर्ज मुकदमों की कॉपी भी दी जा चुकी है लेकिन पुलिस ने कोई कार्रवाई नही की है। महिला आए दिन जेल भिजवाने की धमकी दे रही है।

इस पूरे मामले पर ग्रामीण पुलिस अधीक्षक शुभम पटेल ने बताया कि एक पीड़ित वादी के द्वारा पुलिस को बताया गया है कि एक महिला और उसके परिवार के लोगों के द्वारा पिछले चार-पांच वर्ष में अलग-अलग घटनाएं दर्शाते हुए कई दर्जन मुकदमे दर्ज कराए गए हैं। वादी ने आरोप लगाया है कि महिला और उसके परिवार के लोगों द्वारा थाने पर मुकदमा दर्ज कराने के बाद पीड़ित पक्ष से समझौता किया जाता है। ऐसे में पुलिस का मानना है कि महिला और उसके परिवार के लोगों द्वारा दर्ज कराए गए सभी मुकदमों की पुलिस टीमों द्वारा जांच की जाएगी। जांच के उपरांत अगर जांच में पाया गया कि महिला और उसके परिवार के लोगों द्वारा दर्शाई गई घटनाएं सत्य नहीं है तो महिला और उसके परिवार के लोगों के खिलाफ पुलिस के द्वारा कार्रवाई की जाएगी। महिला और उसके परिवार के लोगों द्वारा एससी एसटी का मुकदमा दर्ज कराने के बाद आर्थिक मदद भी ली गई अगर पुलिस जांच मे सही पाए जाएगी तो एससी एसटी के झूठे मुकदमे दर्ज कराकर ली गई आर्थिक सहायता वापस कराते हुए पुलिस द्वारा वैधानिक कार्रवाई की जाएगी। इस पूरे मामले की जांच क्षेत्राधिकारी के द्वारा की जाएगी क्षेत्राधिकारी sc-st के महिला और उसके परिवार के लोगों द्वारा दर्ज कराए गए मुकदमों की जांच करेंगे। अगर पुलिस संज्ञान में बात निकल कर सामने आती है कि एससी एसटी के नाम पर झूठे मुकदमे दर्ज कराए गए हैं। तो महिला और उसके परिवार के खिलाफ भी पुलिस द्वारा कठोरतम कार्रवाई की जाएगी। फिलहाल पुलिस संज्ञान में आए करीब 9 से 10 मामले में जांच नहीं की गई है। गुरुवार को ही पुलिस वादी की तरफ से प्रार्थना पत्र मिला है। एससी एसटी की सभी मुकदमों की हुई विवेचना की भी जांच की जाएगी।

Sort:  

Good story👍

गुड