यूपी चुनाव से लेकर लोकसभा उपचुनाव तक हार का जिम्मेदार आयोग, हुई बईमानी बोले अखिलेश यादव

in #former2 years ago

Screenshot_20220819-151630_WhatsApp.jpg

लखनऊ। उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी ने हार के बाद अब तक समीक्षा बैठक नहीं की है। चुनाव परिणाम आने के बाद अखिलेश यादव इस रिजल्ट में जीत देख रहे थे। कार्यकर्ताओं का मनोबल बढ़ा रहे थे। वहीं, अब उन्होंने चुनाव आयोग को इस रिजल्ट को लेकर सीधे-सीधे जिम्मेदार ठहरा दिया है। न्यूज एजेंसी को भाषा को दिए इंटरव्यू में पहली बार अखिलेश यादव ने आजमगढ़ और रामपुर लोकसभा चुनाव में हार के कारणों पर बात की। इसमें उन्होंने यूपी चुनाव 2022 को भी जोड़ा और इस हार के लिए आयोग की बेईमानी को जिम्मेदार ठहराया। आयोग के साथ-साथ अखिलेश यादव ने भाजपा को भी बेईमान करार दिया। अखिलेश यादव वर्ष 2024 के लोकसभा चुनाव की तैयारियों में जुटे हैं। ऐसे में वे अपने कार्यकर्ताओं और जनता को साफ संदेश देने के मूड में है कि भारतीय जनता पार्टी की जीत के पीछे सरकारी मशीनरी काम कर रही है। इसके लिए वे अपने पक्ष में माहौल बनाने की कोशिश में हैं। ऐसे में उन्होंने चुनावी समीक्षा की बात पर साफ किया कि चाहे विधानसभा चुनाव हो या दो सीटां पर हुआ लोकसभा उपचुनाव समाजवादी पार्टी की हार का कारण चुनाव आयोग रहा। भाजपा की 'बेईमानी' के कारण उन्हें हार मिली। अखिलेश यादव ने दावा किया कि अगर आयोग ने ईमानदारी से काम किया होता तो नतीजे कुछ और ही होते। सपा अध्‍यक्ष अखिलेश यादव ने कहा कि उनकी पार्टी ने राज्‍य का पिछला विधानसभा चुनाव लोकतंत्र बचाने की अपील के साथ लड़ा था। नतीजा सबके सामने है। उन्होंने कहा कि देश में अब कोई भी संस्‍थान निष्‍पक्ष नहीं रह गया है। सरकार दबाव डालकर इन संस्‍थानों से मनमाफिक काम कराती है। अखिलेश यादव ने चुनाव आयोग पर करारा हमला बोला। उन्होंने आरोप लगाया कि आयोग ने चुनावों में बहुत बेईमानी की। मतदाता सूची से बड़े पैमाने पर नाम काट दिए गए। रामपुर और आजमगढ़ में लोकसभा उपचुनाव में हार का कारण गिनाते हुए उन्होंने यह दावा किया। अखिलेश ने कहा कि रामपुर लोकसभा उपचुनाव में सपा कार्यकर्ताओं को वोट नहीं डालने दिया गया। आजमगढ़ में तो सपा कार्यकर्ताओं को रेड कार्ड जारी किए गए। क्‍या चुनाव आयोग सो रहा था? उसने हमारी शिकायतों पर ध्‍यान ही नहीं दिया। अखिलेश यादव ने यूपी में समाजवादी पार्टी को मजबूत बनाने पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि पार्टी और संगठन को मजबूत करने पर ही हमारा सबसे अधिक जोर है। अखिलेश ने घोषणा की कि इसी साल समाजवादी पार्टी का राष्ट्रीय अधिवेशन आयोजित किया जाएगा। इससे पहले पार्टी की ओर से सदस्यता अभियान चलाया जा रहा है। अखिलेश यादव ने कहा कि ऐप बेस्ड अभियान में बड़े पैमाने पर आम लोगों का रुझान पार्टी की ओर दिख रहा है। लोकसभा उप चुनाव में हार के बाद उठे थे सवाल अखिलेश यादव पर आजमगढ़ और रामपुर लोकसभा उपचुनाव में करारी हार के बाद सवाल उठे थे। इन दोनों सीटों को सपा का गढ़ माना जाता था। वर्ष 2019 के चुनाव में अखिलेश यादव आजमगढ़ तो आजम खान रामपुर से जीतकर लोकसभा पहुंचे थे। यूपी चुनाव में जीत के बाद दोनों ने सीट छोड़ी। इसके बाद उप चुनाव में पार्टी को हार का सामना करना पड़ा। यूपी चुनाव में भी जीतकर सरकार बनाने का दावा करने वाली सपा 111 सीटों पर सिमट गई। सपा गठबंधन को 125 सीट मिले थे। ऐसे में अब अखिलेश के आयोग पर हमले का अलग अर्थ निकाला जा सकता है।