IAS कोचिंग सेंटर हादसे की दास्तान: 10 मिनट में बेसमेंट हुआ पानी से भर, 2.5 घंटे तक नहीं मिली मदद

in #ias2 months ago

चश्मदीद छात्र हिरदेश ने बताया कि मैं इस भयानक घटना से बचे लोगों में से एक हूं. 10 मिनट के भीतर बेसमेंट भर गया था. शाम के वक्त 6.40 बज रहे थे, हमने पुलिस और एनडीएमए को बुलाया, लेकिन वे रात 9 बजे के बाद पहुंचे, तब तक मेरे तीन साथियों की जान चली गई थी. वहीं, एक और छात्र ने बताया कि इंस्टिट्यूट के पीछे की तरफ करीब 12 फीट ऊंची दीवार है लेकिन कोई भी एग्जिट गेट नहीं है.

delhi-ias-coaching-incident.jpg
Image Credit: tv9hindi

एक यूपीएससी छात्र ने दिल्ली के कोचिंग सेंटर हादसे की पूरी कहानी साझा की है, जिसमें तीन छात्रों की जान चली गई। सुनहरे भविष्य का सपना देखने वाले इन छात्रों की जिंदगी एक पल में खत्म हो गई। इस त्रासदी का मुख्य कारण लापरवाही है, जिसने इन छात्रों को बेसमेंट में डूबने पर मजबूर कर दिया। चश्मदीद छात्र हिरदेश चौहान ने जो बातें साझा की हैं, वे चौंकाने वाली हैं।

हिरदेश चौहान ने बताया, "मैं इस भयानक घटना से बचने वालों में से एक हूं। 10 मिनट के भीतर बेसमेंट पानी से भर गया। शाम 6:40 बजे हमने पुलिस और एनडीआरएफ को बुलाया, लेकिन वे रात 9 बजे के बाद पहुंचे। तब तक मेरे तीन साथी अपनी जान गंवा चुके थे, जबकि तीन अन्य अस्पताल में भर्ती हैं, उनके लिए प्रार्थना करें।"

एक अन्य चश्मदीद विष्णु ने कहा कि जब यह हादसा हुआ, तो जोर-जोर से चीखने की आवाजें आ रही थीं। बच्चे चिल्ला रहे थे और भीड़ इकट्ठा हो गई थी। कोचिंग सेंटर के पीछे 12 फीट ऊंची दीवार है, लेकिन वहां कोई एग्जिट गेट नहीं है, जबकि पास के दूसरे कोचिंग सेंटर में एग्जिट गेट है, जिससे आपात स्थिति में सुरक्षित बाहर निकला जा सके।

दिल्ली फायर विभाग के निदेशक अतुल गर्ग ने कहा कि हमें शाम 7:10 बजे फोन आया कि करोल बाग इलाके में एक बेसमेंट में बच्चे फंसे हुए हैं। जब हम मौके पर पहुंचे, तो बेसमेंट में पानी भरा हुआ था। पहले हमें पंप से पानी निकालना पड़ा, लेकिन जब हमने ऐसा करने की कोशिश की, तो सड़क का पानी बेसमेंट में वापस जा रहा था। जैसे-जैसे पानी कम हुआ, हमने बच्चों को बचाया। इसमें काफी समय लगा। बेसमेंट 12 फीट गहरा था, जिससे बचाव में समय लगा। हमने तीन छात्रों के शव निकाले। यह जांच का विषय है।