बलिया में बीएसए ने अनुपस्थित 157 अध्यापकों, शिक्षामित्रों और अनुदेशकों के खिलाफ "नो वर्क नो पे

in #bsa28 days ago

बलिया 22 अगस्तः (डेस्क)बलिया जिले में बेसिक शिक्षा विभाग शिक्षा के स्तर को सुधारने के लिए कड़े कदम उठा रहा है।

IMG_20240822_190357.jpg
Image credit: Dainik Bhaskar

जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी (बीएसए) मनीष कुमार सिंह ने हाल ही में 157 शिक्षकों, शिक्षामित्रों और अनुदेशकों के खिलाफ 'नो वर्क नो पे' के तहत कार्रवाई की है। इन शिक्षकों, शिक्षामित्रों और अनुदेशकों को बिना किसी सूचना के स्कूल से अनुपस्थित पाया गया था।

निरीक्षण के दौरान मिली अनुपस्थिति
महानिदेशक, स्कूल शिक्षा एवं राज्य परियोजना निदेशक कार्यालय समग्र शिक्षा विद्याभवन निशातगंज लखनऊ द्वारा जारी आदेश के अनुपालन में, खण्ड शिक्षा अधिकारी, जिला समन्वयक, जनपद एवं ब्लाक स्तरीय टारक फोर्स के अधिकारियों ने प्रेरणा पोर्टल के माध्यम से परिषदीय विद्यालयों का निरीक्षण किया। इस निरीक्षण के दौरान 65 अध्यापक, शिक्षामित्र और अनुदेशक बिना किसी सूचना के अनुपस्थित पाए गए।

बीएसए द्वारा जारी निर्देश
बीएसए मनीष कुमार सिंह ने सम्बंधित अध्यापक, शिक्षामित्र और अनुदेशकों को निर्देशित किया है कि वे अपना स्पष्टीकरण 07 कार्य दिवस के अंदर सुसंगत साक्ष्यों सहित अपने खण्ड शिक्षा अधिकारी के माध्यम से उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें। समयांतर्गत और संतोषजनक स्पष्टीकरण न होने की स्थिति में, उनके खिलाफ आगे की कार्रवाई की जाएगी।

प्रधानाध्यापकों को भी दिए निर्देश
बीएसए ने सम्बन्धित प्रधानाध्यापक/प्रभारी प्रधानाध्यापक को भी निर्देश दिए हैं कि वे अपने संबंधित विद्यालयों में शिक्षकों, शिक्षामित्रों और अनुदेशकों की उपस्थिति सुनिश्चित करें। साथ ही उन्हें यह भी कहा गया है कि वे अनुपस्थित शिक्षकों, शिक्षामित्रों और अनुदेशकों के खिलाफ कार्रवाई करें और इसकी रिपोर्ट बीएसए कार्यालय को प्रेषित करें।

शासन के निर्देशों का अनुपालन
यह कार्रवाई शासन के कड़े निर्देशों के बाद की गई है, जिसमें विद्यालय अवधि में अनुपस्थित रहना अनुशासनहीनता, उच्चाधिकारी के आदेशों-निर्देशों की अवहेलना तथा सौंपे गये कार्यों एवं दायित्वों के निर्वहन में घोर लापरवाही माना गया है। इसलिए इन शिक्षकों, शिक्षामित्रों और अनुदेशकों के खिलाफ कार्रवाई की गई है।

बीएसए की कार्रवाई से मचा हड़कंप
बीएसए की इस कड़ी कार्रवाई से शिक्षा महकमे में हड़कंप मचा हुआ है। शिक्षकों, शिक्षामित्रों और अनुदेशकों को अपने कर्तव्यों के प्रति सजग रहने और विद्यार्थियों के भविष्य के प्रति जिम्मेदार होने की सख्त चेतावनी दी गई है। इस कार्रवाई से शिक्षा के स्तर में सुधार आने की उम्मीद जताई जा रही है।