एएमयू के प्रो. इशरत आलम बनाएं गए किशनगंज सेंटर बिहार के नए निदेशक
अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के इतिहास विभाग के प्रोफेसर इशरत आलम को एएमयू किशनगंज केंद्र, बिहार का निदेशक नियुक्त किया गया है। .
प्रोफेसर आलम 35 वर्षों से अधिक समय से शिक्षण और अनुसंधान में लगे हुए हैं। उन्हें 1985 में भारत सरकार द्वारा प्रायोजित नीदरलैंड सरकार पारस्परिक फैलोशिप प्राप्त हुई। उन्होंने दो किताबें प्रकाशित हो चुकी हैं और उन्होंने हरबन मुखिया द्वारा संपादित ‘भारत में प्रौद्योगिकी का इतिहासः मध्यकालीन काल’ पुस्तक में पांच अध्यायों का योगदान दिया है। उनकी एक अन्य पुस्तक को ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी प्रेस द्वारा प्रकाशन के लिए स्वीकार कर लिया गया है। इस के अतिरिक्त उन्होंने राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय ख्याति की पत्रिकाओं में 70 से अधिक शोध लेख प्रकाशित किए हैं।
प्रो. इशरत आलम अध्यक्ष और समन्वयक, उन्नत अध्ययन केंद्र, इतिहास विभाग, प्रोवोस्ट, सर सैयद हॉल (उत्तर) (2019-21), परीक्षा अधीक्षक, कला एवं सामाजिक विज्ञान संकाय (2018-21), समन्वयक बी.ए. कार्यक्रम, दूरस्थ शिक्षा केंद्र (2006-2008) और सहायक प्रॉक्टर (1996-99)आदि पदों पर रह चुके हैं।
उन्होंने सेज प्रकाशन द्वारा प्रकाशित प्रतिष्ठित पत्रिका, इंडियन हिस्टोरिकल रिव्यू के प्रबंध संपादक, पीपल्स हिस्ट्री (एसएजीई प्रकाशन) और इंडियन जर्नल ऑफ हिस्ट्री ऑफ साइंस (भारतीय राष्ट्रीय विज्ञान अकादमी) के अध्ययन के संपादकीय बोर्ड के सदस्य के रूप में भी कार्य किया है। वह 8 अक्टूबर 2008 से 7 अक्टूबर 2013 तक भारतीय ऐतिहासिक अनुसंधान परिषद (मानव अनुसंधान विकास मंत्रालय, भारत सरकार) के सचिव रह चूके हैं और 2015 से 2017 तक भारतीय इतिहास कांग्रेस के सचिव के रूप में अपनी सेवाएं दी हैं। वह भारतीय राष्ट्रीय विज्ञान अकादमी, भारत सरकार की अनुसंधान परिषद के सदस्य हैं।
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