विभाजन की विभीषिका की याद दिलाने बीजेपी दफ्तर पर लगी चित्र प्रदर्शनी

in #hardoi2 years ago

FB_IMG_1660482797463.jpgहरदोई जिला भाजपा कार्यालय पर विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस के अवसर पर चित्र प्रदर्शनी का आयोजन हुआ, जिसमे जिला प्रभारी प्रकाश पाल एवं जिला अध्यक्ष सौरभ मिश्रा नीरज मुख्य रूप से मौजूद रहे।

इस अवसर पर जिला प्रभारी प्रकाश पाल ने कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा कि आज 14 अगस्त के दिन “विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस” हमें याद दिलाता रहेगा कि किस कुंठित मानसिकता से भारत का विभाजन किया गया था, जिसमें लाखों लोग बेघर हुए, अपनी जान की कुर्बानी दी और भारत ने विभाजन का दंश झेला। विभाजन के कारण हुई हिंसा से लाखों लोग विस्थापित हो गए और असंख्य लोगों ने अपनी जान गंवा दी। जिला प्रभारी ने कहा कि यह दुनिया की सबसे बड़ी मानव त्रासदियों में से एक है जिसमे लाखों परिवारों का जीवन अंधेरे में डूब गया। उन्हें जीवन की ऐसी यात्रा तय करना पड़ी, जिसकी कोई मंजिल नहीं थी। इन परिवारों ने भी स्वतंत्रता का मूल्य चुकाया। उनकी त्रासदी को हम याद कर सकें, वर्तमान पीढ़ी और आने वाली पीढ़ी उनके बलिदानों और पीड़ा से परिचित हो सके, स्वतंत्रता में उनकी आहुति की कीमत को समझ सके, इसीलिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हर साल 14 अगस्त को विभाजन विभीषिका स्मृति के रूप में मनाने का आह्वान किया है। कहा, विभाजन विभीषिका का दंश जो हमारे भाई बहनों ने वर्षों पहले सहा था, यह हमें आज सामाजिक विभाजन, वैमनस्यता के जहर को दूर करने और एकता, सामाजिक सद्भाव और मानव सशक्तीकरण की भावना को और मजबूत करने का सदैव स्मरण करता रहेगा। बताया, अटल जी ने एक बार कहा था, हमे मिली आज़ादी अधूरी है। इस दिन हमें अखंड भारत का संकल्प भी स्मरण रखना होगा। इस अवसर पर जिला अध्यक्ष सौरभ मिश्रा नीरज ने कहा कि पिछली सदी में मानव आबादी के सबसे बड़े विस्थापन की याद दिलाने के लिए है, जिसने बड़ी संख्या में लोगों के जीवन की हानि हुई थी। विभाजन प्रभावित लोगों की पीड़ाओं को प्रदर्शित करने के लिए यह प्रदर्शनी आयोजित की गई है। जैसा कि हम सब को पता है कि देश का बंटवारा हुआ लेकिन शांतिपूर्ण तरीके से नहीं. इस ऐतिहासिक तारीख ने कई खूनी मंजर देखे। भारत का विभाजन खूनी घटनाक्रम का एक दस्तावेज बन गया जिसे हमेशा उलटना-पलटना पड़ता है। दोनों देशों के बीच बंटवारे की लकीर खिंचते ही रातों-रात अपने ही देश में लाखों लोग बेगाने और बेघर हो गए। धर्म-मजहब के आधार पर न चाहते हुए भी लाखों लोग इस पार से उस पार जाने को मजबूर हुए। इस अदला-बदली में दंगे भड़के, कत्लेआम हुए। जो लोग बच गए, उनमें लाखों लोगों की जिंदगी बर्बाद हो गई। भारत-पाक विभाजन की यह घटना सदी की सबसे बड़ी त्रासदी में बदल गई। यह केवल किसी देश की भौगोलिक सीमा का बंटवारा नहीं बल्कि लोगों के दिलों और भावनाओं का भी बंटवारा था। इसी विभीषिका के दंश को असंख लोग चुप चाप झेलते रहें पर आज तक उनका दर्द किसी ने नहीं बांटा, यह कार्य भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किया।

मुख्य रूप से जिला उपाध्यक्ष राजेश अग्निहोत्री, संदीप सिंह, प्रीतेश दीक्षित, संजय सिंह, महामंत्री अनुराग मिश्र, मंत्री नीतू चंद्रा, मीडिया प्रभारी गांगेश पाठक, कार्यालय मंत्री अतुल सिंह, राजा बख्श सिंह, सुभाष पांडे, अभिषेक सिंह, सत्यम शुक्ला, हर्षित, नगर अध्यक्ष अजीत उपाध्याय, नगर टीम के साथ नीरज तिवारी जितेंद्र हरिदास आदि मौजूद रहे।